सावधानी बचाव कोरोना
सावधानी वचाव कोरोना
मानव को कुछ पता नहीं एकत्र किया धन भरी आह।
सीख पुरानी भूला कोरोना दस्तक दी इसी माह।।
महामारी सी फैली जग में हम सभी हुए पीढ़ित भाई।
भूले दिवास्वप्न ख्वाव मुँह हाथ पैर धोना ही चाह।।
घर में रहकरके अपने हम करें जरुरी काम कोई।
धन पाने जो भाग रहे थे दुनियाँ की लेने थाह।।
कोरोना बना महामारी हरतरफ सफाई रखनी है।
आना-जाना बंद करें रोकनी भी होंगी सभी राह।।
धन दौलत पद मद भूलो जन-जीवन बहुत कीमती है।
सत्कर्म स्वच्छता अपनाकर करलो जीवन की परवाह।।
स्वच्छ रहें हम स्वस्थ रहें दूरी सबसे रखनी हमको।
संपर्क त्याग करना होगा महामारी का बीज स्वाह।।
प्राकृतिक कोप कोरोना बन दे सीख विश्व को जाएगा।
सर्वोपरि मानवहित ही अनुसंधानों पर भी रखो निगाह।।
✍️ नैमिष शर्मा (स.अ.)
पू० माध्यमिक विद्यालय-तेहरा
विकास खण्ड व जनपद-मथुरा
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